
हरिद्वार, 13अगस्त : सहारनपुर के जाने-माने सर्राफा कारोबारी सौरभ बब्बर ने अपनी पत्नी मोना बब्बर के साथ मिलकर गंगा नदी में कूदकर आत्महत्या कर ली। इस घटना से पूरा क्षेत्र स्तब्ध है।
पुलिस के अनुसार, सौरभ पर करीब 10 करोड़ रुपये का कर्ज था, जिससे वह बेहद परेशान थे। आत्महत्या से पहले उन्होंने अपने रिश्तेदारों को व्हाट्सऐप पर एक सुसाइड नोट भेजा था, जिसमें उन्होंने अपनी आर्थिक स्थिति और कर्ज के बोझ से मुक्ति पाने की चाहत का जिक्र किया है।
सुसाइड नोट में क्या लिखा था?
सौरभ ने अपने सुसाइड नोट में लिखा, “मैं सौरभ बब्बर कर्ज के दलदल में इस कदर फंस गया हूं कि अब बाहर निकलने का कोई रास्ता नहीं बचा है। अंत में, मैं और मेरी पत्नी मोना बब्बर अपना जीवन समाप्त कर रहे हैं। हमारी प्रॉपर्टी, दुकान और किशनपुरा वाला मकान हमारे दोनों बच्चों के लिए है। हमने अपने बच्चों को नाना- नानी के हवाले कर दिया है।”
कैसे हुआ यह सब?
सौरभ बब्बर हरिद्वार के किशनपुरा इलाके में श्री साई ज्वेलर्स की दुकान चलाते थे। वह व्यापारियों के साथ मिलकर एक कमेटी भी चलाते थे, जिसमें करोड़ों रुपये का लेन-देन होता था। समय के साथ वह भारी कर्ज में डूब गए, और ब्याज की अदायगी करते-करते थक गए थे।
रविवार रात को सौरभ अपनी पत्नी मोना के साथ हरिद्वार गए थे। सोमवार को उनका शव हर की पौड़ी पर मिला, जबकि मोना का अब तक कोई सुराग नहीं लगा है। गोताखोरों की टीम मोना की तलाश कर रही है।
परिवार ने क्या कहा?
परिवार के मुताबिक, सौरभ और मोना ने अपने दोनों बच्चों को मरने से पहले नाना-नानी के घर छोड़ दिया था, जिसका उल्लेख उन्होंने अपने सुसाइड नोट में भी किया है।
पुलिस क्या कह रही है?
पुलिस ने सौरभ के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
क्या है इस घटना का असर?
सौरभ और मोना बब्बर के इस कदम से पूरा क्षेत्र स्तब्ध है। यह घटना एक बार फिर कर्ज के बोझ से होने वाली आत्महत्याओं की ओर इशारा करती है।